18.5.09

इस सचित्र पहेली का सही उत्तर है - यह टाइगर नहीं यह लाइगर है



चलते है अब थोडा लाइगर के बारे में जाना जाए.

आपने लायन देखा होगा और टाइगर भी देखा होगा लेकिन इन दोनों के सम्मिलित स्वरूप को एक साथ नहीं देखा होगा. लायन और टाइगर से पैदा हुई नई प्रजाति को लाइगर कहते है. लाइगर हमारे देश भारत में नहीं पाया जाता है. इनका वजूद जंगलो में बचा नहीं रह सकता है इसीलिए इन्हें संरक्षित क्षेत्रो में रखा जाता है. दुनिया के कई देशो के चिडियाँ घरो में लाइगर मौजूद है. बिल्ली प्रजाति के कई और अजूबे क्रॉसबीड दुनिया में है. श्री के.संखला की किताब टाइगर में एक ऐसे विशाल लेपर्ड का जिक्र किया गया है. लाइगर एक नर शेर और मादा बाघ के क्रॉसब्रीड से पैदा हुई संताने होती है. अभी तक की बिल्ली प्रजातियो में यह सबसे बड़ा है. लाइगर यदि अपने पिछले पैरो पर खडा होता है तो इसकी ऊंचाई १०-१२ फीट तक हो जाती है इनके विशाल शरीर का का कारण उनके जींस की असामान्यता होती है. हरक्यूलिस और सिंदबाद नाम के दो लाइगरो के नाम गिनीज बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज है इनके वजन क्रमश ४५० किलोग्राम से ज्यादा और ४५० किलोग्राम थे. इनका प्रिय शौक पानी में तैरना होता है.


एक विशाल लाइगर का फोटो देखिये ऊंचाई १२ फीट से अधिक.

इस पहेली में दस ब्लागर्स भाई/बहिनों ने उत्तर दिए

कहीं कुत्ता तो नहीं ... हिमांशु

ये बाघ कुत्‍ते जैसा क्‍यों दिखाई दे रहा है
धारियां तो बाघ जैसी हैं.... अरे नहीं महेन्‍द्र जी आप बाघ के मुंह में जो आस्‍ट्रेलियाई कीड़ा है उसकी बात कर रहे हैं.
बहुत खूब
किसी को पता भी नहीं चलेगा कि आपने किसके बारे में पूछा है
.
वैसे यह सवाल भी मैं खोटा सिद्ध कर सकता हूं क्‍योंकि मुझे पेड़ के पीछे भी कुछ दिखाई दे रहा है.:)

LION...... अर्श

http://dikshakidunia.blogspot.com/2009/04/blog-pos...लवली कुमारी

महेंद्र जी, मुझे तो यह सिंह नजर आ रहा है...... रवीन्द्र रंजन

बड़ा अजीब सा शेर है. जान नहीं है फिर भी गर्जना पर ... (P.N. Subramanian)

tiger डॉ.मनोज मिश्र

oon....shayad TIGER RAJNISH PARIHAR

Patrick the magnificent Liger at Shambala Preserve... Patrick the magnificent Liger at Shambala Preserve, an animal sanctuary in Acton, California.
सबसे पहले भाई समीर लाल जी "उड़नतश्तरी" ने सटीक और सही जबाब दिया और इस पहेली का विजेता होने का गौरव प्राप्त किया है.

Its a liger the hybrid offspring of a lion father ... (अभिषेक ओझा)

* इस सचित्र पहेली में दस ब्लागर्स भाई/बहिनों ने उत्तर दिए और सबसे पहले भाई समीर लाल जी "उड़नतश्तरी" ने सटीक और सही जबाब दिया और इस पहेली का विजेता होने का गौरव प्राप्त किया है और उसके उपरांत भाई अभिषेक ओझा जी ने इसे हाई ब्रीड श्रेणी का लाईगर बताया और पहेली का उपविजेता होने का सम्मान अर्जित किया है . विजेता साथियो को बहुत बहुत बधाई .
साथ ही इस पहेली में ब्लागर्स हिमांशुजी ,सिद्धार्थ जोशी जी ,.अर्श जी, लवली कुमारी जी,रवीन्द्र रंजन जी,पी एन. सुब्रमनियन जी, डॉ.मनोज मिश्र जी ,रजनीश परिहार जी ,अभिषेक ओझा जी......इस सचित्र पहेली में हिस्सेदारी कर सचित्र पहेली को और भी रोचक बना दिया वे भी सम्मान के पात्र है.

17.5.09

चित्र पहेली बूझो और जानिए जी ये कौन है ?

अपने कई तरह के जानवर देखें होंगे और उनके बारे में निश्चित ही आपको काफी जानकारी होगी . चलिए आपकी मानसिक हलचल की परीक्षा लेने का समय शुरू होता है अब . चित्र को देखकर आपको बताना है कि ये भारी भरकम महोदय है कौन ? पहेली का उत्तर देने के लिए आपको दो दिनों का समय प्रदान किया जाता है उसके उपरांत पहेली का हल प्रकाशित कर दिया जायेगा.



रिमार्क - भाई लोग नक़ल पट्टी कर उत्तर ठेल देते है इसीलिए टिप्पणी माडरेशन कर दी है .
अभी भी नहीं पहिचाना बस एक ने पहचाना . यह सवाल खोटा नहीं चोखा है....समय है कम .

15.5.09

बम्फर ड्रा के परिणाम : सचित्र पहेली : बूझो तो जाने ?

एक सचित्र मुहावरा अपने ब्लॉगर भाई/बहिनों से पूछा था. उत्तर देने के लिए दो दिन का समय दिया गया था. यह मुहावरा पूछा था कि "एक बगीचे में तीन महापुरुषों की मूर्तियाँ लगी हुई हैं. रोज सुबह उन मूर्तियाँ को मोहल्ले के लोग फूलो की माला पहिनाते है . इन तीन महापुरुषों के नाम क्रमशः पंडित जवाहर ला जी नेहरू दूसरा राष्ट्र पिता महात्मा गाँधी जी और नेताजी सुभाष चन्द्र जी है इनकी फोटो लगाए गए थे. फोटो को देखकर अनुमान लगाकर सिर्फ उत्तर देना था कि गाँधी जी की माला गाय ने क्यों नहीं खाई ? इस रोचक मुहावरे के बारे में अनेको ब्लागर्स के उत्तर मिले.

सबसे पहले भाई गगन शर्मा जी ने उत्तर दिया कि क्योंकि उनके हाथ में लाठी है उनके उत्तर के समर्थन में सुब्रमनियन जी, विजय वडनेरे जी ने,भाई नीशू जी ने,भाई धीरू सिह जी ने,जयंत चौधरी जी ने,हिमांशु जी ने अपनी सहमति व्यक्त की. भाई नवीन शर्मा जी ने और भाई अर्श जी और भाई प्रवीण त्रिवेदी.जी .प्राइमरी का मास्टर ने लाठी से अपनी सहमति जताई. डॉ. मनोज मिश्रजी ने कहा… जो सब नें कहा वही हमारा भी उत्तर है सबके उत्तर के स्वर में अपने उत्तर के सुर मिला दिए. ताऊ रामपुरिया ने कहा… लाठी का कमाल है.

उड़न तश्तरी जी ने पहला उत्तर दिया … ”जिसकी लाठी, उसकी भैंस......फिर दूसरा उत्तर दिया ....भाई....गाँधी जी से तो गाय की कोई दुश्मनी थी नहीं..वो तो बकरी का दूध पीते थे. बाकी के दोनों गाय का दूध पीते थे, इसलिये हिसाब चुकता कर गई.....पहले भैस को घुसेड़ा फिर बकरी को भी उत्तर में समेत दिया खैर उन्होंने उत्तर में लाठी का जिक्र तो कर दिया है.

अभिषेक ओझा जी ने कहा… हम तो लाठी वाले उत्तर के साथ जाते लेकिन अब दोनों उत्तर के साथ हैं. लाठी भी और बकरी भी. लो भाई कर लो बात इन्होने भी उत्तर में बकरी को घुसेड दिया .

संगीता पुरी जी ने कहा… लाठी देखकर गाय को तो डरना ही है .. अब वो कैसे जाने कि यह मूर्ति है .. व्‍यक्ति नहीं....अरे मै लिखना भूल गया कि व्यक्ति या मूर्ती है.

काजल कुमार जी ने कहा… खायेगी तो तब न, जो गले में माला होगी. पहनाते ही उतार नही दी ?

रंजन जी ने कहा… और याद दिलाया कि गांधी जी को खादी की माला पहनाई जाती है..… वैसे.. आपके चित्र के हिसाब से तो उन्होने माला उतार दी न ? बहुत सही पकड़ा कि जो चित्र मैंने जल्दबाजी में दिया था उसमे गाँधी जी अपनी माला उतार रहे है पर उत्तर में लाठी को सम्मिलित नहीं कर पाए.

सिद्धार्थ जोशी जी ने कहा… सोच सोच कर भेजे का दही हो गया है.....लाठी तो तस्‍वीर में दिखाई गई है......जरुरी नहीं है कि पार्क में लगी मूर्ति पर भी लाठी हो......जिसकी लाठी उसकी भैंस इसलिए नहीं हो सकती कि गाय ने माला खाई है...
..... अब मैलोडी खाओ खुद जान जाओ....

हाँ यह हो सकता है कि पार्क की मूर्ती में गाँधी जी के हाथो में लाठी न हो.

भाई विजय जी ने कहा महेंद्र भाई ....आपने ही तो बताया था कि वो गाय गांधी जी की ही थी, भला गाय अपने मालिक की माला कैसे खा सकती है. हाँ सहमत हूँ कि गाय अपनी मालिक की माला नहीं खा सकती है. गायो के बारे में भाई कबु अपनी बताई नहीं हुई है. हाँ ब्लागिंग की गायो के बारे में चर्चा जरुर होती रहती है कि वो गाय कितनी सीधी है और वो गाय कितनी तेज है और वो गाय कितनी मरखू है आदि आदि.

प्रेमलता पांडे जी ने कहा…
गाँधीजी खड़े हैं ऊँचाई ज़्यादा है सो गाय का मुँह पहुँच हीन पाया जबकि वो दोनों की मूर्ति बैठी मुद्रा की नीची हैं।
( दो माला खाकर पेट भी भर गया होगा, गाय को डिडया(ज़रुरत से ज़्यादा खाने की आदत) नहीं होती. उत्तर भी गजब का दिया पूछो कुछ बताओ कुछ के अंदाज में.

अन्नपूर्ण ने कहा… गाँधीजी के दोनों हाथों में माला फंसी रही ... जी नहीं वे अपनी माला उतार रहे थे.

पहेली का सही उत्तर है गाँधी जी के हाथो में लाठी थी इसीलिए उनकी माला गाय ने नहीं खाई .


खैर जो भी है सचित्र मुहावरा बड़ा ही रोचक रहा . आप सभी ने अपने तरह तरह के विचार प्रेषित किये कुछ ने सटीक उत्तर दिए और कुछ ने अपने उत्तर लाइन से हटकर दिए . इस सचित्र पहेली मुहावरे के विजेता पहले आवे और पहले पावे के आधार पर भाई गगन शर्मा जी घोषित किये जाते है उन्होंने सबसे पहले पहले सटीक उत्तर दिया और सुब्रमनियन जी, विजय वडनेरे जी, भाई नीशू जी,भाई धीरू सिह जी,जयंत चौधरी जी ने,हिमांशु जी भाई नवीन शर्मा जी और भाई अर्श जी और भाई प्रवीण त्रिवेदी...प्राइमरी का मास्टर,डॉ. मनोज मिश्र अभिषेक ओझा उड़नतश्तरी जी. संगीता पुरी को भी विजेता घोषित किया जाता है और इस पहेली में सम्मिलित होने के लिए भाई विजय जी,सिद्धार्थ जोशी जी, मुकेश कुमार तिवारी और रंजन जी को भी बहुत बहुत धन्यवाद जिन्होंने पहेली में अपनी भागीदारी देकर पहेली को और भी रोचक बना दिया.